
भोपाल।
स्थानीय सांसद आलोक शर्मा ने गत दिवस को नई दिल्ली में केंद्रीय कानून मंत्री श्री अर्जुनराम मेघवाल से मुलाकात की । उन्होंने श्री मेघवाल को ज्ञापन सौंपा जिसमें हाईकोर्ट बेंच की स्थापना भोपाल में भी किए जाने का अनुरोध किया गया है।
सांसद श्री शर्मा ने केंद्रीय कानून मंत्री को सौंपे ज्ञापन में उल्लेख किया है कि भोपाल जिले की जनता को अपने न्यायिक प्रकरणों के लिए जबलपुर हाईकोर्ट जाने में अनेक असुविधा होती है।
सांसद ने केंद्रीय मंत्री श्री मेघवाल से आग्रह किया कि यदि हाइकोर्ट बेंच भोपाल लाने में कोई अड़चन है तो भोपाल जिले का न्यायिक क्षेत्राधिकार इंदौर से जोड़ दिया जाए, जिससे जनता को समय और अत्यधिक धन खर्च से राहत मिलेगी।
केंद्रीय कानून मंत्री से चर्चा के दौरान सांसद आलोक शर्मा ने बताया कि भोपाल में हाईकोर्ट की बेंच स्थापित करने को लेकर लंबे समय से प्रयास किये जा रहे हैं। भोपाल सहित आसपास की जनता को सस्ता और सुलभ न्याय मिलने के संकल्प को पूरा करने के लिए यह जरूरी है।
श्री शर्मा के अनुसार देश में अधिकांश प्रदेशों की राजधानियों में हाइकोर्ट की मुख्य पीठ या बेंच स्थापित है।
इंदौर खंडपीठ से जोड़ने का दिया सुझाव :
सांसद श्री शर्मा ने केंद्रीय मंत्री अर्जुनराम मेघवाल को सुझाव दिया है कि यदि भोपाल में हाइकोर्ट की बेंच स्थापित करने में कोई अड़चन है तो भोपाल जिले का न्यायिक क्षेत्राधिकार (ज्यूरिडिक्शन) इंदौर से जोड़ दिया जाए। इंदौर की दूरी जबलपुर से कम है। जनता व सरकार के अधिकारी न्यायिक मामलों की सुनवाई के लिए सुबह जाकर शाम तक घर वापिस आ सकते हैं। ऐसे में जनता का समय और पैसे की बर्बादी तो रुकेगी ही साथ ही सरकारी खजाने पर पड़ने वाला अत्यधिक भार भी कम हो जाएगा। सरकारी कर्मचारियों को अपनी पदोन्नति व अन्य प्रकरणों की सुनवाई के लिए जबलपुर जाना-आना करना मुश्किलें पैदा करता है।
यह वकीलों की है पुरानी मांग :
यहां यह बताना जरूरी है कि स्टेट बार काउंसिल की एडवोकेट एनरोलमेंट कमेटी के चेयरमैन वरिष्ठ अधिवक्ता राजेश व्यास सहित अन्य अधिवक्ता
भोपाल में हाईकोर्ट बेंच लाने के लिए पहले भी कई बार मांग कर चुके हैं। वर्तमान में भोपाल का न्यायिक क्षेत्र जबलपुर है। भोपाल से जबलपुर जाने आने में लंबा समय और पैसे की बर्वादी होती है। यदि भोपाल का न्यायिक क्षेत्राधिकार इंदौर जोड़ दिया जाए तो भी जनता को काफी राहत मिल जाएगी। वकीलों को भी मामलों में पैरवी के लिए जबलपुर जाने आने में अपना अधिक समय खर्च करना पड़ता है। सांसद शर्मा ने आम जनता, वकील और सरकारी अधिकारियों की व्यवहारिक परेशानियों को तो अपने पत्र में लिखा ही है साथ ही इससे सरकारी खर्चों को रोकने का सुझाव भी दिया है।
जनता का समय और पैसा बचेगा :
सांसद आलोक शर्मा ने कहा कि भोपाल जिले का न्यायिक क्षेत्र इंदौर खंडपीठ से जुड़ने पर जनता का समय और पैसा दोनों बचेंगे। साथ ही सरकार के जनता को सस्ता और सुलभ न्याय दिलाने के संकल्प की भी पूर्ति होगी।
सांसद श्री शर्मा की इस मांग का भोपाल, सीहोर, राजगढ़, नर्मदापुरम, विदिशा, हरदा , के अधिवक्ताओं ने समर्थन किया है।
इन अधिवक्ताओं में हरदा से शांति कुमार जैसानी, भोपाल से दिलीप शर्मा , युवराज व्यास ,आनंद तिवारी , सिद्धार्थ गुप्ता , डीसी नागर, राजेश तिवारी, शिबूदास, सोहन उमरिया, सुधीर अहिरवार, हर्षदीप सिंह सोलंकी, गोपाल वाजपेई, राम सिंह मेहरा, राजेश भार्गव, आशीष शर्मा, श्रीमती अमिता पांडे, श्रीमती भारती शास्त्री प्रमुख हैं।
– अमिताभ पाण्डेय